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प्यार के रूप अनेक

  प्रेम~💝 कसमें वादे प्यार वफ़ा सपने ताने उलाहने प्रतीक्षा शर्म हया संकोच डर प्यार का हर रूप हर चेहरा, बेमिसाल है। प्यार फूलों सा नाज़ुक हवा सा नटखट धरती जैसा धानी भी है। प्यार कलियों पर बैठा भवरों का गुंजन भी है। प्यार मौसमों की अंगड़ाई सरोवर में खिला नीलकमल सा भी है।